बुधवार, 14 अप्रैल 2010
अगर हम सफल होना चाहते हैं
जब हम जीतते हैं तो क्या करते हैं?
कुदते हैं ,चिल्लाते हैं ,खुस होते हैं ,पार्टी मनाते है..............
लेकिन जब हम हारते हैं तो क्या?
तो हमे और ज्यादा खुस होना चाहिए,क्यों?
क्योंकि हमने किसी और को खुस होने,कुदने ,पार्टी मनाने व चिल्लाने का मौका जो दिया है............हमारा एटीच्युड ऐसा ही होना चाहिए........
हम सब का जन्म सफल होने के लिए हुआ है.........................
अगर हम सफल होना चाहते हैं तो,हमें दूसरों को सफल होने में मदद करना चाहिए.................हम खुद ब खुद सफल हो जाएँगे...................
जूता
एक बार ट्रेन पर चढते समय गाँधी जी का जूता पटरी पर नीचे गिर गया।ट्रेन चलने लगी थी वे उसे उठा नहीं सकते थे।उन्होंने अपना दूसरा जूता निकाला व पहले वाले के पास फेंक दिया।यह देख बाकि यात्री हैरान रह गये।उनके सहयात्री ने जब इसका कारण पूछा तो उन्होंने कहा,"एक पैर का जूता मेरे लिए बेकार था अब कम से कम जिस गरीब को वो मिलेगा वह उसका प्रयोग तो कर लेगा"।
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जिंदगी एक गीत है
जिंदगी एक गीत है -इसे गाओ
जिंदगी एक खेल है -इसे खेलो
जिंदगी एक चुनौती है - इसका सामना करो
जिंदगी एक सपना है -इसे साकार करो
जिंदगी एक त्याग है -इसे कर दो
जिंदगी प्रेम है - इसका आनन्द लो
साईं बाबा
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