अधिकतर लोग अपनी वर्तमान परिस्थितियों की तरफ देखकर दुखी होते रहते हैं।
जैसे कि मेरा बैंक बैंलेन्स बहुत कम है
मेरी सेहत खराब है
मै कर्ज में डूबा हूँ,इत्यादि,इत्यादि
लेकिन ये उनका वर्तमान स्वरूप नहीं है।यह तो उनके पुराने विचारों व कार्यों का फल है।
हम हरदम पुराने विचारों और कार्यों के परिणामों के साथ जीते हैं।
यदि लोगों का नजरिया वर्तमान में यही रहता है तो वे एक तरह से अपना भविष्य खराब कर रहें हैं।
हम अपना वर्तमान सुधार कर अपना भविष्य सुधार सकते हैं।
हम सब का जन्म सफल होने के लिए हुआ है।
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